अधोमुखस्वांसना योग
योग हमें जीने की कला सिखाता है यह हमें धर्म के बंधनो से परे जीवन की सरल राह दिखाता है | योग व्यक्ति को स्वंयम से जोड़ना सिखाता है जो भौतिक मुद्राओं, श्वास तकनीकों, ध्यान और आध्यात्मिकता में सहायता करने के लिए एक दूसरे को जोड़ता है |
अधो मुखा स्वांसना का अर्थ
"अधो" जिसका अर्थ है नीचे की ओर,
"मुखा" जिसका अर्थ है चेहरा,
"स्वाना" जिसका अर्थ है कुत्ता
इस आसन में लचीलेपन और शरीर के ऊपरी मजबूती की आवश्यकता होती है। इस आसन में शरीर, पैरों और हाथों को जमीन में दबाने और कूल्हों को आकाश की तरफ उठाने के साथ एक उलटा "V" बनता है। इस आसन को करने से काफी हद तक शारीरिक लाभ मिलते हैं, यह मन को शांत करने के लिए माना जाता है|
अधोमुखस्वांसना करने की विधि
- योगासन करने के लिए आसपास का वातावरण स्वच्छ और शांति वाला होना चाहिए |
- इस योगासन में आप सीधे खड़े हों जाएं और दोनों पैरों के बिच में थोड़ी सी दूरी रखें |
- उसके बाद धीरे से नीचे की ओर झुकें और अपने मस्तक को दरी से छुऐं | जितना आपका शरीर खिंचाब कर पाए उतना ही खींचे | ज्यादा खिंचाब न दें |
- ध्यान दीजियेगा आपका पेट अंदर रहे |
- साँस लेते समय अपने पैरों की उंगलिओं की मदद से, कमर को पीछे की ओर खींचे| अपने पैरों को और हाथों को न मोड़े|
- फिर एक लम्बी साँस लें और कोशिश करें की तक़रीबन ३० सेकंड इसी अवस्था में रुकें |
- इस योग की स्थिति में आने के बाद, आपके शरीर का V जैसा आकार बन जाएगा |
- ध्यान दीजिये आपके हाथ आगे की तरफ बड़े हुए हैं और आपका माथा नीचे जमीं पर छू रहा है और आपके पैर भी बिलकुल समतल(flat) है जमीं पर |
- अब धीरे धीरे अपनी पूर्व अवस्था में आ जाएं | और इसको प्रतिदिन करें |
अधोमुखस्वांसना योग करने के फायदे
- यह योगासना रनर्स के लिए बहुत अच्छा होता है क्यूंकि जब आप भागकर आते है तो आपकी टाँगे काफी थकी होतीं है | यह आसन करने से आपके पैरों में काफी आराम मिलता है और उनमे मजबूती आती है |
- इस आसन को करने के बाद आपकी ऊर्जा जागृत होती है और आप काफी ज्यादा एनर्जेटिक महसूस करते हैं |
- यह आसन आपके घुटनो के लिए , पैरों के लिए, आपके कंधो के लिए , एल्बो के लिए काफी अच्छा हैं क्यूंकि आर्थराइटिस और ऑस्टियोपोरोसिस की समस्या को दूर करता हैं |
- इस आसन को करने से शरीर में लचीलापन और स्फूर्ति आती है |
- यह आसन आपको सक्रिय और शरीर में रक्त परिसंचरण में सुधार आता है|
- यह रीढ़ की हड्डी को मजबूत करता है और छाती की मांसपेशियों को मजबूत करता है |
सावधानी
- आपके शरीर में अगर दर्द हैं ,चोट लगी हैं या कोई दुर्घटना हुई हो, गर्भवती महिला हैं और माइग्रेन या बी.पी . की समस्यां हैं तो इस आसन को न करें |
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